कर्नाटक चुनाव: कांग्रेस ने जारी किया घोषणा पत्र, नफरत फैलाने वाले संगठनों पर बैन का वादा

बेंगलुरू। कर्नाटक विधानसभा चुनाव के लिए आज कांग्रेस पार्टी ने अपना घोषणा पत्र जारी कर दिया। राज्य की राजधानी बेंगलुरू में स्थित प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने यह घोषणा पत्र जारी किया। इस मौके पर कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री और विपक्ष के नेता सिद्धारमैया, पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष डीके शिवकुमार और अन्य नेता मौजूद रहे।
कांग्रेस पार्टी ने अपने घोषणा पत्र में कर्नाटक की जनता से कई बड़े वादे किए हैं, कांग्रेस की ओर से घोषणापत्र जारी करने के दौरान कहा गया कि हम मानते हैं कि कानून और संविधान पवित्र है। बजरंग दल, पीएफआई जैसे व्यक्तियों या फिर संगठनों की ओर से किसी बहुसंख्यक या अल्पसंख्यक समुदायों के बीच शत्रुता या घृणा को बढ़ावा देने वाले अन्य लोगों को संविधान या फिर कानून का उल्लंघन करने नहीं दिया जाएगा। हम ऐसे किसी भी संगठन पर प्रतिबंध लगाने समेत कानून के अनुसार निर्णायक कार्रवाई करेंगे।
कांग्रेस ने अपने घोषणा पत्र में वादा किया है कि पार्टी की सरकार आने के बाद 200 यूनिट मुफ्त बिजली दिया जाएगा।इसके अलावा परिवार की प्रत्येक महिला मुखिया को हर महीने 2,000 रुपये देने की बात कही गई है।
घोषणापत्र में बेरोजगार स्नातकों का भी ख्याल रखा गया है। उन्हें दो साल के लिए 3,000 रुपये प्रति माह और बेरोजगार डिप्लोमा धारकों को 1,500 रुपये प्रति माह दिया जाएगा। केएसआरटीसी/बीएमटीसी बसों में सभी महिलाओं के लिए मुफ्त यात्रा की छूट दी जाएगी।
कांग्रेस ने अपने मेनिफेस्टो में उन पेंशनभोगी सरकारी कर्मचारियों के लिए ओपीएस के विस्तार पर विचार करने की बात कही है जो 2006 से सेवा में शामिल हुए हैं। घोषणापत्र में एक वर्ष के भीतर सभी सरकारी विभागों में अस्वीकृत रिक्तियों को भरने का भी वादा किया गया है।
पार्टी ने कहा कि कांग्रेस पार्टी अनुसूचित जाति के लिए आरक्षण को 15% से बढ़ाकर 17%, अनुसूचित जनजाति के लिए 3% से 7%, और अल्पसंख्यक आरक्षण को 4% बहाल करने और लिंगायत, वोककालिगा और अन्य समुदायों के लिए आरक्षण बढ़ाने और नौवीं अनुसूची में शामिल करने के लिए प्रतिबद्ध है।
कांग्रेस पार्टी ने अपने घोषणापत्र में गहरे समुद्र में मछली पकड़ने के लिए हर साल 500 लीटर टैक्स फ्री डीजल देने का वादा किया है। कांग्रेस पार्टी ने अपने घोषणापत्र में एससी/एसटी/ओबीसी/अल्पसंख्यक/लिंगायत और वोक्कलिगास और अन्य समुदायों की आशाओं और आकांक्षाओं को समायोजित करने के लिए सीलिंग और आरक्षण को 50% से बढ़ाकर 75% करने का वादा किया है।
बता दें कि, कर्नाटक में 10 मई को विधानसभा चुनाव होगा। राज्य की सभी 224 विधानसभा सीटों पर एक ही दिन वोट डाले जाएंगे। इसके बाद 13 मई को चुनाव के नतीजे आएंगे। 2018 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने सबसे ज्यादा 104 सीटें जीती थी। वहीं कांग्रेस के खाते में 80 सीटे आई थी। जेडीएस ने 37 सीटों पर जीत दर्ज की थी। चुनाव परिणाम के बाद कांग्रेस और जेडीएस ने मिलकर सरकार बनाई थी, लेकिन 13 महीने में ही कुछ विधायकों के बागी होने के बाद सरकार गिर गई। जिसके बाद बागियों की मदद से बीजेपी ने राज्य में अपनी सरकार बनाई।