सीएम योगी बोले- आध्यात्मिक पर्यटन की तर्ज पर यूपी में ईको टूरिज्म भी आगे बढ़ाएंगे
लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि प्रदेश में आध्यात्मिक पर्यटन काफी तेजी से बढ़ा है। इसी तर्ज पर अब ईको टूरिज्म को भी आगे बढ़ाना है। वह इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान में आयोजित ईको टूरिज्म संवाद कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। इस अवसर पर उन्होंने यूपी ईको टूरिज्म बोर्ड के लोगो का अनावरण भी किया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि यूपी देश का हृदय स्थल है और यहां पर असीम संभावनाएं भी हैं। इको पर्यटन बोर्ड इस दिशा में काफी काम कर रहा है। गत वर्ष यूपी में 48 करोड़ पर्यटक आए। यानी यूपी की आबादी से दोगुने। इसमें ज्यादातर स्पिरीचुवल (आध्यात्मिक, धार्मिक) पर्यटन के लिए थे। प्रदेश में आध्यात्मिक पर्यटन के काफी केंद्र हैं। इसी तरह की संभावनाएं ईको टूरिज्म के क्षेत्र में भी हैं। सोनभद्र का फासिल्स पार्क इसी में से एक है। यहां कई ऐसे स्थल, वन, सरोवर ताल हैं। उन्होंने जून में 50 डिग्री तक हुए तापमान का जिक्र करते हुए लोगों को पर्यावरण के प्रति चेताया था।
मुख्यमंत्री ने कहा कि लखनऊ में कुकरैल में नाइट सफारी बना रहे हैं। इसके पहले कुकरैल नदी को पुनर्जीवित कर रहे हैं। इसको लोगों ने नाला बना दिया था। अवैध निर्माण हो गए थे। 800 अवैध निर्माण तोड़कर नदी का क्षेत्र साफ किया गया तो नदी में भी नए स्रोत निकल गए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि मानव ने अपने निजी स्वार्थ के लिए प्रकृति का अंधाधुंध दोहन किया। हमें इसके प्रति चेतना होगा। उन्होंने कहा कि हमारे गांव में काफी पर्यटन की संभावना है। ईको टूरिज्म बोर्ड इस तरफ काम कर रहा है। आध्यात्मिक पर्यटन में जैसे होम स्टे की सुविधा है, वैसे ही गांव में भी ईको टूरिज्म के लिए सुविधा शुरू कर आर्थिक स्थिति सुधारी जा सकती है। कार्यक्रम में पर्यटन मंत्री जयवीर सिंह, वन व पर्यावरण मंत्री अरुण सक्सेना, वन राज्य मंत्री केपी मालिक, मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र आदि उपस्थित थे।
कार्यक्रम में सोनभद्र के सलखन स्थित फासिल्स (जीवास्म) पार्क को यूनेस्को की सूची में शामिल करने के लिए बीरबल साहनी इंस्टीट्यूट से एमओयू भी किया गया। इस पार्क में 150 करोड़ साल पुराने जीवास्म पाए जाते हैं। इसके लिए दोनों संस्थान मिलकर काम करेंगे।